भारत के शौर्य की गौरव गाथा, मुगल काल के भूले-बिसरे हिंदू योद्धा, छत्रपति शिवाजी, महाराणा प्रताप, गुरु तेग बहादुर, डॉ. राकेश कुमार आर्य | Santasa

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महाराणा प्रताप – मातृभूमि के लिए संघर्षरत हिंदू वीर | Santasa
महाराणा प्रताप – मातृभूमि के लिए संघर्षरत हिंदू वीर | Santasa

डॉ. राकेश कुमार आर्य द्वारा रचित “भारत के शौर्य की गौरव गाथा” में मुगल काल के उन हिंदू वीरों की अद्भुत कथाएँ हैं जिन्हें इतिहास ने भुला दिया। छत्रपति शिवाजी, महाराणा प्रताप, गुरु तेग बहादुर जैसे महायोद्धाओं के पराक्रम, त्याग और धर्मरक्षा की प्रेरक यात्रा पढ़ें Santasa पर।

भारत की धरती ने सदैव वीरों को जन्म दिया — वे जो धर्म, राष्ट्र और संस्कृति की रक्षा के लिए प्राणों की आहुति दे गए।
“भारत के शौर्य की गौरव गाथा” ग्रंथ में डॉ. राकेश कुमार आर्य ने उन वीरों का इतिहास पुनर्जीवित किया है, जिनका नाम मुगलकालीन इतिहास की धूल में दबा दिया गया था।
यह ग्रंथ केवल इतिहास नहीं, बल्कि राष्ट्र-जागरण और आत्मगौरव की पुकार है।

मुगल काल के भूले-बिसरे हिंदू योद्धा

  • छत्रपति शिवाजी महाराज: स्वराज्य के संस्थापक, हिंदवी धर्मरक्षा के प्रतीक
  • महाराणा प्रताप: मातृभूमि के लिए संघर्षरत अमर योद्धा
  • गुरु तेग बहादुर: धर्म और मानवता के लिए सर्वोच्च बलिदान
  • वीर दुर्गादास राठौड़, वीर संभाजी, राजा छत्रसाल बुंदेला: इतिहास के अदृश्य नायक

डॉ. राकेश कुमार आर्य की दृष्टि

डॉ. आर्य का लेखन आर्य समाज के दृष्टिकोण से प्रेरित है, जहाँ इतिहास केवल तिथियों का नहीं, बल्कि “संस्कार और चेतना का दस्तावेज़” बन जाता है।
वे बताते हैं कि भारत का सच्चा इतिहास तब शुरू होता है जब हम अपने भूले-बिसरे नायकों को पहचानते हैं।

राष्ट्र-निर्माण के प्रेरणास्रोत

“भारत के शौर्य की गौरव गाथा” न केवल अतीत का गौरव है, बल्कि वर्तमान पीढ़ी के लिए प्रेरणा है कि धर्म, संस्कृति और राष्ट्र के लिए संघर्ष ही सच्चा पराक्रम है।

अन्य पुस्तकें व गीत

Santasa — आर्य समाज की प्रेरणा से राष्ट्रभक्ति, वेदिक ज्ञान और सांस्कृतिक चेतना का मंच।

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